(Kidney Stone Ayurvedic Treatment – Without Surgery) आजकल गुर्दे की पथरी एक आम समस्या बन चुकी है। तेज पेट या पीठ में दर्द, पेशाब में जलन या बार-बार पेशाब आना – ये सब इसके संकेत हो सकते हैं। लेकिन क्या आप जानते हैं कि बिना ऑपरेशन भी इसका इलाज संभव है? हमारे Goodwill Ayurveda Clinic, Pilani (Rajasthan) में हमने सैकड़ों मरीजों की पथरी को Ayurvedic तरीके से बाहर निकाला है – बिना किसी सर्जरी के, सिर्फ हर्बल दवाओं से। --- ✅ हमारा इलाज क्यों खास है? 🔹 कोई साइड इफेक्ट नहीं 🔹 पूरी तरह से आयुर्वेदिक व घरेलू जड़ी-बूटियों से तैयार 🔹 पेशाब की नली (ureter) में फंसी हुई पथरी भी बाहर निकली 🔹 पहले और बाद की रिपोर्ट से इलाज का प्रमाण हमारे द्वारा तैयार की गई दवा खुद हमारे क्लिनिक में बनाई जाती है, जिसमें किसी भी तरह का मार्केट का रेडीमेड पाउडर या केमिकल नहीं होता। --- 🧴 दवा कैसे काम करती है? शरीर में जमा अवांछित पथरी को धीरे-धीरे पेशाब के रास्ते बाहर निकालने में मदद करती है दर्द, जलन और बार-बार पेशाब जैसी परेशानियों से राहत देती है यूरिनरी सिस्टम को साफ रखती है ताकि दोबारा पथरी न बने --- 🧘♂️ मरीज...
यदि आपके घर की चारदीवारी के अंदर की तरफ आग्नेय कोण में थोड़ी खाली जगह है तो आप अनार का पौधा अवश्य लगाएं यह पौधा आकार में बहुत बड़ा नहीं होता इसलिए अधिक स्थान भी नहीं घेरता है अब आपके दिमाग में यह सवाल आएगा कि इसके पीछे ऐसी क्या खास बात है। आजकल वास्तु के महत्व को लगभग सभी लोग मानने लगे हैं यदि अनजाने में आपके घर में आपने कोई फलदार पौधा वास्तु के विपरीत लगा रखा है और आपको इस बात का पता लग जाता है तो आप उसको तुरंत उखाड़ कर फेंक देंगें चाहे वह कितना ही लाभकारी क्यों ना हो। इसलिए यह ध्यान देना जरूरी है की अनार के पौधे को घर में किस दिशा में लगाया जाए। वास्तु शास्त्र के अनुसार आग्नेय कोण अनार के पौधे के लिए सही स्थान है यदि आप अग्नि कोण में इस पौधे को लगाएंगे तो यह आपके लिए अत्यंत सुखदाई व शुभ कारक साबित होगा तथा इससे आपके ग्रह दोष दूर होंगे। ऐसा माना जाता है कि अनार के पौधे में भगवान विष्णु और माता लक्ष्मी दोनों निवास करते हैं, अनार के फूलों को शहद में डुबोकर सोमवार को शिवलिंग पर चढ़ाने से भगवान शिव प्रसन्न होते हैं । पुराने जमाने में अनार की टहनी से बनाई गई ...